कुंडली मारकर बैठे शनि यूपी में Amit Shah के साथ करेंगे कितना बड़ा खेला?
चक्रव्यूह में फँसी मोदी की सबसे बड़ी ताक़त ….. कुंडली मारकर बैठे शनि दिखाएँगे कैसी लीला ? …अबकी बार किनका होगा सूपड़ा साफ़ ? …देखिये सिर्फ़ धर्म ज्ञान पर.
अब जब लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है….श्री फल फोड़ा जा चुका है….चुनावी रण में योद्घाओं को उतारा जा चुका है….तो ऐसे में तमाम राजनीतिक दल बाज़ की तरह यूपी की 80 सीटों पर नज़रें गढ़ाए बैठे हैं...ये बात हर कोई जानता है कि ….यूपी से होकर दिल्ली का रास्ता तय होता है…आज़ाद भारत के इतिहास में यूपी की 80 सीटें देश की दिशा और दिशा, दोनों निर्धारित करती आई हैं…यूपी में जिस किसी पार्टी का परचम लहराया…केंद्र की सत्ता उसी के हाथों में आई ….. यूपी की राजनीति सिर्फ़ भाजपा या फिर कांग्रेस तक की सीमित नहीं रही…बल्कि सपा - बसपा जैसी क्षेत्रिय पार्टियों का दबदबा भी यहाँ देखा गया…. अब जो कि प्रदेश में योगी की सरकार है, सत्ता पर भाजपा क़ाबिज़ है….तो ऐसे में 80 की 80 सीटों को जीतने का संकल्प पार्टी के चाणक्य …देश के गृहमंत्री अमित शाह ले चुके हैं… लेकिन क्या शनि की महादशा से गुजर रहे अमित शाह यूपी को जीत पाने में कामयाब हो पाएँगे ? … शनि के चक्रव्यूह में फँसी मोदी की सबसे बड़ी ताक़त क्या जीता पाएगी 80 की 80 सीटें ? …क्या कहती है , चाणक्य की सबसे बड़ी राजनीतिक भविष्यवाणी ? …देखिये सिर्फ़ धर्म ज्ञान पर
केंद्र की सत्ता पर पीएम मोदी के क़ाबिज़ होते ही…देश में भाजपा का सियासी ग्राफ़ बढ़ा है…15 साल में यूपी में भाजपा की सीटें 5 गुना बढ़ीं हैं, जबकि कांग्रेस की सीटें 20 गुना घटीं हैं। अगर 2019 की बात की जाए तो भाजपा के आगे बाकी दल बिखर गए। कांग्रेस ने अकेले 67 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ा। इसमें 63 पर उसके प्रत्याशियों की जमानत जब्त हो गई। राहुल अमेठी से हार गए। सिर्फ एक सीट रायबरेली से सोनिया गांधी जीतीं।हालाँकि 2019 की तुलना में 2014 के लोकसभा चुनाव में यूपी के 73 सीटों पर कमल खिला था। …अब जो कि 7 चरणों में यूपी की 80 सीटों पर वोटिंग होनी है…इस कारण अमित शाह ने अबकी बार 80 की 80 सीटों पर कमल खिलाने की भविष्यवाणी की है…
80 की 80 सीटों पर कमल खिलाने की भविष्यवाणी करने वाले अमित शाह ….क्या अपनी इस रणनीति में सफल हो पायेंगे….इस वक़्त अगर उनकी ग्रह-दशाओं पर एक नज़र डाले जाए, तो तो इस वक़्त अमित शाह शनि की अंतर्दशा और प्रत्यंतर दशा से गुजर रहे हैं।शनि अपनी मूल त्रिकोण राशि में वक्री होकर बैठे हैं और कन्या लग्न के लिए अकारक मंगल से दृष्ट है। शनि पंचमेश हैं। राजनेता के लिए पंचम भाव मंत्रीपद का होता हैं। पंचम भाव प्रतिष्ठा का भी भाव है। ऐसे में आशंका है कि आने वाले दिनों में राजनीतिक क्षेत्र में इनको अपनी प्रतिष्ठा पद का विशेष ध्यान रखना होगा।मारक ग्रह की दशा में षष्ठेश शनि की अंतर्दशा उनके स्वास्थ्य के लिए भी अनुकूल नहीं है।ऐसे में आशंका बन रही है कि अबकी बार यूपी के लोकसभा नतीजें ऐतिहासिक रहेंगे , समूचा यूपी भगवामय हो सकता है। लेकिन क्या आपको भी यूपी में कमल के खिलने की संभावना ज़्यादा नज़र आती है, कमेंट करके ज़रूर बताइयेगा।