Yogi के फैसले पर Sonu Sood ने कही ऐसी बात, SC के वकील Ashwini Upadhyay ने लताड़ा
सोनू सूद के बिगड़े बोल SC के वकील ने सिखाया सबक़
वहीं इस यूज़र को जवाब देते हुए सोनू सूद ने लिखा था - हमारे श्री राम जी ने शबरी के झूठे बेर खाए थे तो मैं क्यों नहीं खा सकता,हिंसा को अहिंसा से पराजित किया जा सकता है मेरे भाई। बस मानवता बरकरार रहनी चाहिए । जय श्री राम
अब सोनू सूद के इस बयान पर सुप्रीम कोर्ट के वकील अश्विनी उपाध्याय का ग़ुस्सा फूट पड़ा है।अश्विनी उपाध्याय ने सोशल मीडिया के जरीए एक्टर को मुँह तोड़ जवाब दिया है, उन्होंने अपने ex account पर एक अमिताभ चौधरी नाम एक यूजर का वीडियो शेयर किया, जिसमे एक शख्स खाने पर थूकता दिख रहा है।इस वीडियो को शेयर करते हुए अश्विनी उपाध्याय ने सोनू सूद से सवाल किया है।उन्होंने लिखा की - प्रिय सोनू सूद जी, कृपया देखें और अपने विचार साझा करें।
वहीं इसके अलावा अश्विनी उपाध्याय ने अपने दूसरे पोस्ट में सोनू सूद के उस पोस्ट पर रिएक्ट किया,जिसमें वो ये कह रहे थे की- हमारे श्री राम जी ने शबरी के झूठे बेर खाए थे तो मैं क्यों नहीं खा सकता,हिंसा को अहिंसा से पराजित किया जा सकता है मेरे भाई। बस मानवता बरकरार रहनी चाहिए । जय श्री राम…
अब सोनू सूद के इस पोस्ट को शेयर करते हुए अश्विनी उपाध्याय ने लिखा - अज्ञानी से ज्यादा खतरनाक होता है अल्पज्ञानी, माता शबरी जी भगवान श्रीराम की अनन्य भक्त थी इसलिए भगवान श्रीराम ने जूठे बेर खाए थे।जबकि भोजन में थूकने और मल-मूत्र मिलाने का मूल कारण हैं पाक नापाक की सोच, हराम हलाल की सोच तथा काफिरों से नफरत, फिल्म में रोल पाने के लिए कुछ भी करेंगे।
अब जिस तरह से सुप्रीम कोर्ट के वकील अश्विनी उपाध्याय ने सोनू सूद को लताड़ा है, उसके बाद सोशल मीडिया पर भी लोग जमकर रिएक्शन दे रहे हैं, एक यूज़र ने लिखा की - सोनू सूद क्यों देश के हिन्दुओं के मन में अपने लिए नफरत के बीज बो रहा है. यहाँ प्रभु राम का उदाहरण देने की तेरी हिम्मत कैसे हुई।
वहीं एक और यूजर ने लिखा की - न ये ज्ञानी है और न ही अल्पज्ञानी है, यह तो महाधूर्त है। माता शबरीके विषयमें बोलनेकी इसकी औक़ात नहीं है।जन्म से ही जहाँ हिंसा सिखाते है, उनका पक्षधर हिंदुओंको मूर्ख समझ रहा है ये महामूर्ख ,बस बकवास करा लो। मुझे तो सोनू सूद के हिंदू होनेपर ही संदेह है।बता दें कि योगी के फ़ैसले का अखिलेश यादव से लेकर मायावती समेत तमाम विपक्ष कर रहा है।हालांकि कई लोग योगी के इस फ़ैसले का समर्थन भी कर रहे हैं, कांवड़ियों ने सीएम योगी के इस फ़ैसले का सर्मथन किया है।