वाराणसी पहुंचे अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने कहा औरंगजेब की विरासत मिटाने की कोशिश जारी
वाराणसी पहुंचे सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को 'अधूरा' बताया है। उन्होंने बिल की बारीकियां समझाई हैं और ये भी माना की वक्फ की परिभाषा में बदलाव सकरात्मक है।

वक्फ संसोधन विधेयक लोकसभा में पेश किया जा रहा है। इसको लेकर देशभर से प्रतिक्रियाएं सामने आ रही है। सरकार समेत NDA में शामिल घटक दल इस बिल को लेकर बीजेपी के समर्थन में खड़े है तो वही विपक्ष की पार्टियां इसका विरोध करने की बात कह रही है। इसी कड़ी में वाराणसी पहुंचे सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को 'अधूरा' बताया है। उन्होंने बिल की बारीकियां समझाई हैं और ये भी माना की वक्फ की परिभाषा में बदलाव सकरात्मक है।
Varanasi, UP: Vishnu Shankar Jain, Supreme Court lawyer, says, "The Waqf Amendment Bill 2024 is being introduced, and several draconian provisions are being removed. For example, the definition of Waqf has undergone a fundamental change under this amendment bill. Earlier, under… pic.twitter.com/Lmt93TZj5n
— IANS (@ians_india) April 2, 2025
विधेयक में कई बदलाव
मीडिया से बातचीत में जैन ने बताया कि विधेयक में वक्फ की परिभाषा में बड़े बदलाव किए गए हैं। पहले कांग्रेस सरकार ने इसमें 'उपयोगकर्ता' की परिभाषा को शामिल किया था, जिससे कई समस्याएं पैदा हुई थीं। अब इसे हटा दिया गया है। इसके अलावा, धारा 40 के तहत वक्फ बोर्ड को किसी भी संपत्ति को वक्फ संपत्ति घोषित करने का असीमित अधिकार था, जिसे भी खत्म कर दिया गया है। जैन ने आगे कहा कि विधेयक में यह प्रावधान जोड़ा गया कि सभी वक्फ संपत्तियों को छह महीने के भीतर अपनी वैधता साबित करनी होगी। साथ ही, ट्रिब्यूनल में इस्लामी कानून के जानकार को शामिल करने की शर्त को भी हटाया गया है। उन्होंने इसे अच्छा कदम बताया, लेकिन एक कमी की ओर इशारा किया।
Varanasi, UP: Vishnu Shankar Jain, Supreme Court lawyer, says, "We are actively engaged in the legal battle to erase Aurangzeb's legacy. Our research is ongoing, and in the coming time, you will see how we will pursue legal action to remove the remnants of Aurangzeb..." pic.twitter.com/maRlKOXhPr
— IANS (@ians_india) April 2, 2025
औरंगजेब की विरासत को मिटाना है
विष्णु शंकर जैन के मुताबिक, जो निजी संपत्तियां गलत तरीके से वक्फ की संपत्ति घोषित कर दी गईं, उन्हें वापस लेने का कोई प्रावधान इस विधेयक में नहीं है। उनका कहना है कि सरकारी संपत्तियों की बात अलग है, लेकिन निजी मालिकों की संपत्ति को वापस दिलाने के लिए अभी और काम करने की जरूरत है। इसके साथ ही, जैन ने ज्ञानवापी मामले का जिक्र किया। वे आज मां श्रृंगार गौरी के दर्शन के लिए जा रहे हैं और इस मौके पर उन्होंने कहा, "हम सभी मां के चरणों में प्रार्थना करेंगे कि न्यायालय में चल रहा हमारा संघर्ष जल्द पूरा हो और बाबा विश्वनाथ की मुक्ति का रास्ता साफ हो।" जैन ने औरंगजेब की विरासत को लेकर भी बड़ा बयान दिया। उनका कहना है कि वे और उनकी टीम औरंगजेब के नाम को देश के इतिहास से मिटाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने कहा, "हमने ज्ञानवापी और कृष्ण जन्मभूमि से इसकी शुरुआत की है। औरंगजेब की विरासत को खत्म करने के लिए हम हर संभव कानूनी कदम उठाएंगे।" हालांकि, उन्होंने यह साफ नहीं किया कि अगला कदम कहां से शुरू होगा। जैन का मानना है कि औरंगजेब का नाम भारत के इतिहास में नहीं रहना चाहिए और इसके लिए वे लगातार कोशिश करते रहेंगे।