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Amit Shah के बयान पर भड़क उठी विपक्ष, Akhilesh ने ट्वीट कर जताया विरोध

राज्यसभा में संविधान के 75 साल पूरे होने पर चर्चा के दौरान अमित शाह ने कहा, 'अभी एक फैशन हो गया है - आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर, आंबेडकर। इतना नाम अगर भगवान का लेते तो 7 जन्मों तक स्वर्ग मिल जाता।' अब इसी को लेकर राजनीति गर्म है। अखिलेश यादव ने ट्वीट कर निशाना साधा है।
Amit Shah के बयान पर भड़क उठी विपक्ष, Akhilesh ने ट्वीट कर जताया विरोध

राज्यसभा में संविधान के 75 साल पूरे होने पर चर्चा के दौरान गृह मंत्री अमित शाह के बयान ने बवाल मचा रखा है। भीमराव अंबेडकर पर बयान देकर अमित विपक्ष के निशाने पर आ गए हैं। लगातार विपक्षी पार्टी उनपर हमलावर हैं। सड़क से सदन तक हंगामा मचा हुआ है। बयान को लेकर लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने तंज कसा और कहा कि "जो मनुस्मृति का पालन करते हैं, उन्हें स्वाभाविक रूप से आंबेडकर से परेशानी होगी।" कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने भी शाह पर निशाना साधा है। पार्टी ने कहा कि अमित शाह को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए और देश से माफी मांगनी चाहिए। अब इसी बीच सपा सांसद अखिलेश यादव ने भी अमित शाह के बयान का विरोध करते हुए ट्वीट किया है। उन्होंने ट्वीट करते हुए अपने X Handle पर लिखा कि "जिनका मन ‘विद्वेष’ से भरा है, वो ‘देश’ क्या चलाएँगे। आज जो हुआ वो सिर्फ़ बाबासाहेब का ही नहीं, उनके दिये संविधान का भी अपमान है। ये भाजपा की नकारात्मक मानसिकता का एक और चरम बिंदु है।"

देश ने आज जान लिया है कि भाजपाइयों के मन में बाबासाहेब को लेकर कितनी कटुता भरी है। भाजपाई बाबासाहेब के बनाए संविधान को अपना सबसे बड़ा विरोधी मानते हैं क्योंकि उन्हें लगता है कि वे जिस प्रकार गरीब, वंचित, दमित का शोषण करके, उनके ऊपर अपना प्रभुत्व कायम करना चाहते हैं, उनकी इस बदमंशा के आगे संविधान ढाल बनकर खड़ा है।

घोर निंदनीय!

घोर चिंतनीय!!

घोर आपत्तिजनक!!!

जन-जन कहे आज का, नहीं चाहिए भाजपा!


इधर भाजपा लगातार सवाल दाग रही है कि अंबेडकर को नेहरू कैबिनेट से इस्तीफा क्यों देना पड़ा? भारतीय जनता पार्टी ने कांग्रेस पर बाबा साहेब का अपमान करने का आरोप लगाया है। रिजीजू ने यहां संसद भवन परिसर में संवाददाताओं से बातचीत में कहा, "शाह के राज्यसभा में भाषण की एक छोटी क्लिप प्रसारित हो रही है, जिसमें उन्होंने जो कहा, उसे तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया है। यह गलत है। मैं इसकी निंदा करता हूं।" उन्होंने कहा कि शाह ने स्पष्ट रूप से कहा था कि जब बाबासाहेब जिंदा थे, तब कांग्रेस ने उनका अपमान किया। वही मायावती ने भी ट्वीट करते हुए लिखा कि "कांग्रेस व बीजेपी एंड कंपनी के लोगों को बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर की आड़ में अपनी राजनीतिक रोटी सेंकने की बजाय, इनका पूरा आदर-सम्मान करना चाहिए। इन पार्टियों के लिए इनके जो भी भगवान हैं, उनसे पार्टी को कोई ऐतराज नहीं है।"

अब अमित शाह के जिस बयान पर बवाल मचा हुआ है, वह आपको सुनाते हैं। इस बयान को सुनने के बाद आपको पता चलेगा कि शाह के बयान को तोड़-मरोड़ कर पेश किया जा रहा है और विपक्ष जबरन इसका मुद्दा बना रहा है।


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