भागवाधारी संतों पर बोलने वाले खरगे पर भड़के रामभद्राचार्य ने तगड़ा सुना डाला
चुनावी राजनीति के लपेटे में अब भगवाधारी भी आने लगे हैं. कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने 'गेरुआ' पहनकर राजनीति करने वालों पर बयान दिया था. जिसपर जगद्गुरु' रामभद्राचार्य ने कहा, 'ऐसा कहां लिखा है? क्या गुंडों को राजनीति करनी चाहिए? क्या लोफर लोगों को राजनीति करनी चाहिए?
राजनीति में संतों को नहीं आना चाहिए..भगवाधारियों का राजनीति से क्या लेना देना। जो मोह माया से दूर हो वो राजनीति में क्या करेंगे। ये कहने वाले राजनीति को गुंडों और माफियाओं के लिए बना देना चाहते हैं ? यही सवाल अब 'जगद्गुरु' रामभद्राचार्य ने पूछा है। और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को जमकर लताड़ा है। अब मल्लिकार्जुन खरगे ने संतों और भगवाधारियों पर ऐसा क्या बोला जिससे रामभद्राचार्य भड़क गए पहले ये जानते हैं दरअसल, चुनावी माहौल है..महाराष्ट्र और झारखंड में विधानसभा चुनाव हैं।और इसमें सभी पार्टियां अपना पूरा ज़ोर लगा रही हैं। इसी बीच संतों को भी राजनीति में लपेटा जा रहा है। खरगे ने कहा कि 'आप संन्यासी हैं या 'गेरुआ' कपड़े पहनते हैं, तो राजनीति से बाहर हो जाएं' उनके निशाने पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ थे ये साफ़ था।
अब खरगे के इस बयान से साधु संतों में नराज़गी है।'जगद्गुरु' रामभद्राचार्य इस बात पर जमकर भड़के हैं और उन्होंने कांग्रेस और मल्लिकार्जुन खरगे को जमकर सुना दिया है। उन्होंने पूछा कि ऐसा कहां लिखा है क्या गुंडों को राजनीति करनी चाहिए? क्या लोफर लोगों को राजनीति करनी चाहिए?'
अब सवाल ये है कि राजनीतिक मंचों से भगवा और हिन्दुओं पर कब तक ऐेसे टिप्पणी होती रहेंगी। कब तक यूँ ही राम को मानने वालों और सनातन को जानने वालों को निशाना बनाया जाता रहेगा। अपनी सहुलियत से हिन्दुओं को कब तक याद किया जाएगा।