HC में CBI के खुलासे से रोने लगा Sheikh Shahjahan, फंस गई Mamata!।Kadak Baat।
संदेशखाली की घटना पर सीबीआई ने सुप्रीम कोर्ट में अपनी रिपोर्ट पेश कर दी है । जिससे शाहजहां शेख की मुश्किलें बढ़ने वाली है ।
संदेशखाली के आरोपी शाहजहां शेख पर इस कदर चारों तरफ से हंटर चल रहा है कि जेल में वो बिलख बिलख कर रो रहे है । एक तरफ हाईकोर्ट में सीबीआई ने उसकी मुश्किलें बढ़ा दी है ।और दूसरी तरफ उन्हें बचाने में लगी ममता बनर्जी की सुप्रीम कोर्ट ने हालत खराब कर दी है ।तो चलिए पहले ये बताते हैं कि शाहजहां शेख की हाईकोर्ट ने कैसे लंका लगा दी।दरअसल हाईकोर्ट के आदेश में ही संदेशखाली में महिलाओं के साथ हुए अत्याचार। लोगों की जमीन कब्जाने के आरोप में सीबीआई जांच को मंजूरी दी थी। जिसके बाद सीबीआई शाहजहां शेख की अकड़ ढ़ीली करते हुए सीबीआई ने उसे गिरफ्तार किया। खैर अब सबसे बड़ी बात ये है कि
CBI ने संदेशखाली मामले की जांच की प्रारंभिक रिपोर्ट हाईकोर्ट को सौंप दी है ।
महिलाओं के साथ अत्याचार, जमीन कब्जाने समेत कई मामलों पर जांच रिपोर्ट सौंपी।
कोर्ट ने CBI की जांच पर संतोष जताया है ।
प्रधान न्यायाधीश टी एस शिवागन्नम ने न्यायमूर्ति हिरणमय भट्टाचार्य के साथ CBI की रिपोर्ट की समीक्षा की ।
अदालत ने NHRC को इस मामले में एक पक्ष के रुप में शामिल करने की अनुमति दी ।
जानकारी को गोपनीय रखने की एजेंसी ने अनुरोध को भी स्वीकर कर लिया।
सीबीआई ने अपनी रिपोर्ट में एक एक पीड़ित महिला का बयान दर्ज किया है।संदेशखाली में हुई दरिंदगी को बयां किया है। रिपोर्ट देखकर ना सिर्फ जज हैरान है ।बल्कि शाहजहां शेख पर आगे जो एक्शन होने वाला है ।उसस शाहजहां शेख जिंदगीभर भी जेल से बाहर नहीं आ पाएगा ।बता दें की कलकत्ता हाईकोर्ट ने 10 अप्रैल को कोर्ट की निगरानी में संदेशखाली में महिलाओं के खिलाफ हुए अपराध , जमीन कब्जानें जैसे आरोपों की सीबीआई जांच का आदेश दिया था । साथ ही दो मई को प्रगति रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया था। रिपोर्ट बहुत कुछ बोल रही है। और इसी रिपोर्ट से राज्य की मुखिया ममता बनर्जी की मुश्किलें भी बढ़ने वाली है । वैसे भी शाहजहां शेख जब लोगों साथ दरिंदगी कर रहा था। तब वो ना सिर्फ ममता का करीबी । बल्कि टीएमसी का कद्दावर नेता था ।लेकिन टीएमसी की फजीहत ना हो तो ममता ने पहले ही उसे पार्टी से निकाल फेंका था ।यही वजह है की जब संदेशखाली का ममला उजागर हुआ ।हाईकोर्ट ने ममता को फटकार लगाई ।हाईकोर्ट ने सीधे तौर पर कहा
संदेशखाली मामले में जिला प्रशासन और पश्चिम बंगाल सरकार दोनों को नैतिक जिम्मेदारी लेनी चाहिए।
खैर अब ममता बनर्जी को लेकर ना सिर्फ हाईकोर्ट ने सख्ती दिखाई है । बल्कि सीबीआई ने भी शाहजहांशेख केस की जांच के लिए ममता सरकार के सहयोग की हाईकोर्ट में दलील दे दी ।सीबीआई की तरफ से कहा गया है
CBI को अपने पोर्टल पर संदेशखाली में अवैध भूमि कब्जाने से संबंधित लगभग 900 शिकायतें मिली हैं
CBI ने कहा- मूल भूमि रिपोर्ट तक पहुंचने में राज्य सरकार के सहयोग के बिना मामले में जांच प्रक्रिया को आगे बढ़ाना मुश्किल है
CBI ने अदालत से राज्य के अधिकारियों को सहयोग के लिए निर्देश देने की मांग की है
जिसपर कोर्ट ने राज्य सरकार को CBI को जांच में सभी सहयोग देने के निर्देश दिए हैं
यानी की अब ममता की पुलिस ही सीबीआई को शाहजहां के सुरागों तक पहुंचाने में मदद करेगी ।जो ममता बनर्जी शाहजहां शेख को बचाने के लिए सुप्रीम कोर्ट में गिड़गिड़ा रही है । सीबीआई ने उलटा ही ममता बनर्जी को फंसा दिया है ।वैसे भी ममता बनर्जी को सुप्रीम कोर्ट से मुंह की खानी पड़ी है। दरअसल ममता बनर्जी बंगाल में टीएमसी नेताओं के खिलाफ हो रहे सीबीआई एक्शन के खिलाफ ममता सुप्रीम कोर्ट पहुंची। सीबीआई जांच पर रोक लगाने की मांग की । तो ऐसे में मोदी सरकार ने अपना दवाब दाखिल कर ममता बनर्जी की नींद उड़ा। केंद्र सरकार ने साफ शब्दों में कहा है कि सीबीआई का कंट्रोल उनके हाथों में नहीं है ।अब समझ ही जाएगी। केंद्र सरकार के इस जवाब से ममता की मुश्किलें बढ़ने वाली है ।हैरानी तो इस बात की है बंगाल के जिन दरिंदों और दबंगों के खिलाफ सीबीआई एक्शन ले रही है ।अपराध पर शिकंजा कस रहा है ।और ममता बनर्जी उलटा अपराधियों को बचाने के लिए कोर्ट में अपील कर रही है । जहां खुद ही फंस गई है ।