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Pawan Kalyan ने सदन में ऐसा क्या कहा, जिसकी चर्चा पूरा देश कर रहा

नेता हो तो पवन कल्याण जैसा, पवन कल्याण ने सदन में ऐसा क्या कहा, जिसकी चर्चा पूरा देश कर रहा
Pawan Kalyan ने सदन में ऐसा क्या कहा, जिसकी चर्चा पूरा देश कर रहा
Pawan Kalyanनेता हो तो Pawan Kalyan जैसा। ये बात हम यूं ही नहीं कह रहें हैं, बल्कि पवन कल्याण ने पिछले कुछ महीनों में जो किया और अब सदन में जिस तरह से दहाड़ रहें हैं उससे मोदी विरोधियों को सीख ले लेनी चाहिए।


याद कीजिए पवन कल्याण ने किस तरह से अपने जोश, जुनून और जज्बे से आंध्र प्रदेश से जगन मोहन रेड्डी का टाटा बॉस बॉस करके आंध्र में सरकार बनाई, साथ ही केंद्र में तीसरी बार मोदी को पीएम बनने में भी अहम योगदान बिना किसी शर्त के दिया, यही वजह रही कि पीएम मोदी ने पवन कल्याण को आंधी तक बता दिया। 

दरअसल फ़िल्मों वाली दुनिया में हिट होने के बाद जब पवन कल्याण राजीति की दुनिया में उतरे तो यहाँ पर भी सुपर डुपर हिट रहे, आंध्र प्रदेश में टीडीपी, बीजेपी के साथ मिलकर पवन कल्याण की जनसेना पार्टी ने सरकार बनाई, जनसेना ने 21 विधानसभा पर चुनाव लड़ा सभी जीत ली, लोकसभा की 5 सीटों पर चुनाव लड़कर पांचों सीटें अपने नाम की, चंद्रबाबू नायडू सीएम बने, पवन कल्याण को उपमुख्यमंत्री पद मिला। 

अब जब आंध्र प्रदेश में सरकार बनी, पवन कल्याण डिप्टी सीएम बने तो उनमें वो नेता नज़र आया, जिसकी कल्पना शायद किसी ने नहीं की थी, क्योंकि जिस जगन मोहन सरकार में पवन कल्याण, चंद्रबाबू नायडू और तमाम नेताओं पर केस पर केस दर्ज किए गए थे उसकी असलियत सदन में दिखी जब चंद्रबाबू नायडू ने पूछ लिया कि जगह सरकार में किस किस पर मुक़दमे किए गए थे। यक़ीन जानिए तमाम विधायक सदन में खड़े होकर बता रहे थे कि जगन की सरकार किस कदर निरंकुश थी।

ऐसे में अंदाज़ा लगाया जा रहा था कि, जिस तरह से जगन सरकार में पवन कल्याण, चंद्रबाबू नायडू और तमाम नेताओं को परेशान किया गया था, उसी तरह अब सत्ता में आने के बाद चंद्रबाबू नायडू और पवन कल्याण बदला लेंगे, लेकिन इसी कयासबाजी के बीच जिस तरह से पवन कल्याण ने आंध्र प्रदेश विधानसभा में अपनी बात रखी उसने ये बता दिया कि पवन कल्याण जैसे नेता बहुत कम होते हैं, क्योंकि पवन कहते हैं "यह प्रतिशोध की राजनीति के बारे में नहीं है, लेकिन हमें जगन को उनके गलत कामों के लिए जवाबदेह और दंडित करने की आवश्यकता है "
पवन कल्याण चाहते तो पॉवर में आने के बाद जगन मोहन के ख़िलाफ़  एक्शन ले सकते थे, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया, बल्कि कह रहें हैं कि, कोई प्रतिशोध नहीं है, लेकिन जगन ने जो गलती की है उसकी सज़ा उन्हें जायज़ तरीक़े से मिलनी चाहिए, ऐसे में राहुल गांधी और उन तमाम मोदी विरोधियों को सुनना चाहिए जो हर रोज़ मोदी के मरने की कामना करते है, मोदी के ख़िलाफ़ ज़हर उगलते है, मोदी को कोसते रहते है, यहां तक कि ज़्यादा और कम बारिश होने का दोष भी मोदी को ही दे देते हैं।

ऐसे में विरोधियों को पवन कल्याण के बयान और राजनीती से जरुर कुछ न कुछ सीखना चाहिए, और किसी का विरोध कैसे किया जाता है ये भी समझ लेना चाहिए, बहरहाल, जिस तरह से पवन कल्याण ने अपने बयान से ये बताने की कोशिश की है ।

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