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Kadak Baat: ममता बनर्जी की चिट्ठी पर मोदी सरकार ने दिया तगड़ा जवाब, खोली ममता सरकार की पोल!

Kadak Baat: कोलकाता में महिला ट्रेनी डॉक्टर की रेप और हत्या के मामले को लेकर ममता बनर्जी बुरी तरह फंसती नजर आ रही है। दऱअसल ममता बनर्जी ने इस मामले में पीएम मोदी को दो लेटर लिखे. रेप के खिलाफ सख्त कानून बनाने की मांग की, अब केंद्रीय मंत्री ने ममता की चिट्ठी का जवाब दिया है और राज्य में बंद पड़े फास्ट ट्रैक कोर्ट को लेकर आंकड़े जारी कर ममता से सवाल पूछे।
Kadak Baat: ममता बनर्जी की चिट्ठी पर मोदी सरकार ने दिया तगड़ा जवाब, खोली ममता सरकार की पोल!

Kadak Baat: कोलकाता में ट्रेनी डॉक्टर के साथ हुए रेपकांड पर पीएम मोदी को आंख दिखाकर ममता बनर्जी बुरी तरह फंस गई है क्योंकि अब दिल्ली से ममता बनर्जी पर ऐसा एक्शन लिया गया है। ऐसा खुलासा किया गया है टीएमसी की जड़े भी हिल गई है। दरअसल बार बार ममता बनर्जी पीएम मोदी को कोलकाता की घटना पर चिट्ठी लिखकर होशियार बनने की कोशिश कर रही थी।  रेप के आरोपी को 15 दिन में फांसी के लिए सख्त कानून बनाने की मांग रही थी।खुद के राज्य में अपराध हुआ। राज्य की कमान खुद ममता के हाथों में हैं लेकिन मोदी के नाम बार बार लेटर लिखकर सिसायी रोटियां सेकने के काम में लगी थी लेकिन इसी बीच पीएम मोदी ने जवाबी कार्रवाई करते हुए ममता की अकल ठिकाने लगा दी है। केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा ने पीएम मोदी को लिखी ममता बनर्जी की चिट्ठी पर पलटवार करते हुए लिखा ममता बनर्जी की चिट्ठी में मौजूदा जानकारी  तथ्यात्मक रूप से गलत है इस चिट्ठी का मकसद देरी पर पर्दा डालना है। 

जो ममता रेप के आरोपियों के खिलाफ सख्त कानून की बात कर रही है। उनके राज्ये में फास्ट ट्रैक्ट कोर्ट की हालत के जो आंकड़े केंद्र ने जारी किए हैं। उसे सुनकर आपका सिर भी चकरा जाएगा।  केंद्रीय महिला विकास मंत्री ने बताया कि 'फास्ट ट्रैक स्पेशल कोर्ट विशेष रूप से बलात्कार और POCSO अधिनियम के मामलों से निपटने के लिए बना है। पश्चिम बंगाल में 48,600 बलात्कार और POCSO मामलों के लंबित होने के बावजूद राज्य ने अतिरिक्त 11 FTSC चालू नहीं किए हैं, जो राज्य की आवश्यकता के अनुसार विशेष POCSO न्यायालय या बलात्कार और POCSO दोनों मामलों से निपटने वाले संयुक्त FTSC हो सकते हैं।' इसके साथ ही आगे केंद्रीय मंत्री की तरफ से ममता सरकार को बेनकाब करते हुए कहा गया है कि ममता बनर्जी के पत्र में दी गई जानकारी तथ्यात्मक रूप से गलत है और ऐसा लगता है कि यह राज्य द्वारा फास्ट ट्रैक विशेष कोर्ट को चालू करने में देरी को छिपाने की दिशा में उठाया गया कदम है। महिलााओं के खिलाफ हिंसा और अपराध से निपटने के लिए केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए कानून व्यापक औऱ काफी कड़े हैं यदि राज्य सरकार केंद्रीय कानूनों का ठीक वैसे ही पालन करती है तो इससे निश्चित रूप से आपराधिक न्याय प्रणाली को मजबूत करने में मदद मिलेगी। अपराधों को कड़े परिणाम भुगतने पड़ेंगे।


केंद्र सरकार ने ममता बनजी के कारनामों की आंकड़ों के साथ पोल खोलकर रख दी है। बता दिया है कि जो ममता बनर्जी रेप के आरोपियों के खिलाफ कानून बनाने के लिए मोदी के आगे गिड़गिड़ा रही है। वो अपने राज्य में बने फास्ट ट्रैक्ट कोर्ट को क्यों चालू नहीं करवा रही है अपराधियों को खुद बख्सने का काम कर रही है और उलटा चोर कोतवाल को डांटे वाली कहावत को पूरा करने के लिए पीएम मोदी के पीछे पड़ रही है लेकिन केंद्रीय मंत्री ने जो खुलासा किया है। उससे ना सिर्फ ममता बनर्जी की कुर्सी हिलती दिखाई दे रही है बल्कि पीएम मोदी जल्द ही दिल्ली से बैठक ममता के खिलाफ कोई सख्त एक्शन भी ले सकते हैं क्योंकि ममता अब जिस रेप के आरोपी को अब सजा की मांग रही है। जब उसका केस ममता की पुलिस के हाथ में था.. तो आरोपी को बचाने की कोशिश की गई। सबसे बड़ी बात तो ये है कि महिला डॉक्टर के साथ रेप और हत्या कांड को आत्महत्या दिखाने की कोशिश की गई।  FIR दर्ज करने में देरी की गई लेकिन जब मामला CBI के हाथों में पहुंचा।  तब ममता तो बेनकाब हुई ही बंगाल पुलिस की करतूत भी पकड़ी गई क्योंकि CBI के हाथों दरिंगे का ना सिर्फ CCTV हाथ लगा। बल्कि कैसे पुलिसवालों की साथ उसकी साठगांठ थी। इसका भी खुलासा हुआ। दरअसल CBI के हाथ एक CCTV भी लगा है जिसमें साफ साफ आरोपी अस्पताल में जाता हुआ दिखाई दे रहा है। पोलीग्राफ टेस्ट में भी घिनौना राज उगल चुका है।  सवाल तो यही है कि आखिर क्यों इस दरिंदे को बचाने की कोशिश हो रही है। क्या ममता बनर्जी पीएम मोदी को बार बार चिट्ठी लिखकर जांच की दिशा और दशा बदलने की कोशिश कर रही है. क्या इस घिनौने खेल के किरदार और भी लोग हैं.। खैर अब मोदी सरकार इस मामले पर एक्टिव हो चुकी है। जल्द ही मोदी सरकार की तरफ से बंगाल को लेकर बड़ा कदम उठाया जाएगा। हालात बयां कर रहे हैं कि अब ममता की कुर्सी हिलती दिखाई दे रही है क्योंकि गृहमंत्री भी इस मामले पर एक्टिव हो गए हैं। 

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