CCTV केस में सत्येंद्र जैन पर चला LG का हंटर, जांच से घबराए केजरीवाल-आतिशी
आम आदमी पार्टी ने नेता सत्येंद्र जैन की मुश्किलें और ज्यादा बढ़ गई है। क्योंकि एलजी ने सीसीटीवी घोटाले की जांच को भी मंजूरी दे दी है
दिल्ली सरकार बड़ी मुसीबत में फंस गई है। क्योंकि एक और नए केस में दिल्ली के एलजी वीके सक्सेना ने धांसू एक्शन ले लिया है। और इसबार हंटर चला है जेल में बैचेन हो रहे सत्येंद्र जैन पर। जिससे केजरीवाल की सरकार संकट से घिर गई है। शराब घोटाला। मोहल्ला क्लिनिक घोटाला। जल बोर्ड घोटाले के बाद अब सामने आ गया है दिल्ली में सीसीटीवी घोटाला। जिसमें बड़े लेवल पर रिश्वतखोरी का खेल खेला गया। खेल खेलने वाला भी कोई और नहीं। केजरीवाल के चहेते नेता सत्येंद्र जैन निकले हैं। तो ऐसे में अब एक एक रुपये के हिसाब के लिए एलजी ने हंटर चला दिया है।
दिल्ली में हुए CCTV घोटाले में एलजी ने जांच के आदेश दिए हैं।
एलजी वीके सक्सेना ने पूर्व मंत्री सत्येंद्र जैन के खिलाफ ACB जांच के आदेश दे दिए हैं।
7 करोड़ की रिश्वत मामले में जैन के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत जांच को मंजूरी दी गई है।
सत्येंद्र जैन पर 70 विधानसभा क्षेत्रों में CCTV लगाने के 571 करोड़ के प्रोजेक्ट के सिलसिले में 7 करोड़ की रिश्वत लेने का आरोप है।
अब ये भी समझिए की ये रिश्वत आखिर कैसे ली गई। और सत्येंद्र जैन ने क्या खेल खेला। दरअसल सतेंद्र जैन पर आरोप है कि CCTV लगाने में हुई देरी के लिए लगी पेनाल्टी माफ करने के एवज में उन्होंने कंपनी से 7 करोड़ रुपये की रिश्वत ली थी।
तो अब 7 करोड़ की रिश्वत के आरोपों की जांच होगी। किस कंपनी को ठेका दिया गया। कहां कितना पैसों का लेनदेन हुआ। सारे सबूतों को खंगाला जाएगा। और सत्येंद्र जैन जो पहले से मनी लॉन्ड्रिंग केस में जेल में बंद हैं। उनपर आफत और बढ़ जाएगी। वहीं एलजी कार्यालय की तरफ से साफ साफ कहा गया है कि।
एलजी सक्सेना ने जैन के खिलाफ एसीबी द्वारा जांच की मंजूरी के लिए पीओसी अधिनियम, 1998 की धारा 17 ए के तहत मामले को केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजने के डीओवी के प्रस्ताव से सहमत हो गए हैं।
जैसे ही एलजी ने सत्येंद्र जैन के खिलाफ जांच आगे बढ़ाने की मंजूरी दी आम आदमी पार्टी के नेताओं ने बौखालाना शुरू कर दिया। आतिशी छुटते ही एलजी पर भड़क उठी। और तंज करते हुए कहा कि।
भारतीय जनता पार्टी लगातार दिन रात दिल्ली सरकार के खिलाफ साजिश में लगी रहती हैं। 10 साल में आम आदमी पार्टी के नेताओं पर 200 से ज्यादा केस किए गए हैं। आज तक भाष्टाचार का एक रुपया कहीं से बरामद नहीं हुआ है। आम आदमी पार्टी कट्टर ईमानदार है। अब ये एक और फर्जी केस है। भाजपा दिल्ली सरकार को ठप करना चाहती है।
जैसे ही आम आदमी पार्टी ने बीजेपी पर साजिश के आरोप लगाए। माहौल बनाया। घोटाले को झूठ बताया। वैसे ही पलटवार के लिए बीजेपी ने भी मोर्चा संभाला। बीजेपी ने तुरंत पलटवार करते हुए कहा कि ।
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जांच की मंजूरी "कोई आश्चर्य की बात नहीं है" और इसकी बहुत पहले से उम्मीद थी।
जांच एजेंसियों के शिकंजे में सत्येंद्र जैन बुरी तरह फंस चुके हैं। बता दें कि
सत्येंद्र जैन पहले से मनी लॉन्ड्रिंग केस में जेल में बंद हैं। उनपर शेल कंपनियों के जरिए घोटाले का भी आरोप है। ईडी ने सत्येंद्र जैन पर क्या कुछ आरोप लगाए हैं। चलिए बताते हैं।
सत्येंद्र जैन पर ED का आरोप ।
ED का आरोप है कि सत्येंद्र जैन ने 4 अलग-अलग कंपनियों के जरिए पैसों का हेरफेर किया था।
इसी पैसे के जरिए जमीन खरीदी गई और जमीन खरीदने के लिए पहले से लिए गए लोन की किश्त चुकाई गई।
30 मई 2022 को उन्हें गिरफ्तार किया गया था। इसके बाद उनकी हर बार जमानत याचिका खारिज कर दी गई।
26 मई को सर्जरी कराने के लिए उन्हें जमानत दी गई। हालांकि, सर्जरी के बाद उनकी सेहत ठीक होते ही उन्हें दोबारा जेल भेज दिया गया।
सत्येंद्र जैन पर शिकंजा लगातार कसता जा रहा है। पहले से ईडी के डंडे और शिकंजे ने उनकी मुश्किलें बढ़ा रखी है। और अब एलजी ने जांच के आदेश देकर सत्येंद्र जैन के लिए दिक्कतों और बढ़ा दी है। अब देखना ये होगा की जांच की आंच किस किस तक पहुंचती है। और आम आदमी पार्टी के कितने नेता इस जाल में फंसते हैं।