झारखंड में राहुल गांधी का जातीय जनगणना पर जोर, कहा ‘ जिस दिन जातीय जनगणना हो गई, देश का चेहरा बदल जाएगा’
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने झारखंड के गोड्डा जिले में चुनावी सभा के दौरान जातीय जनगणना की मांग को प्रमुखता दी। उन्होंने इसे दलितों, आदिवासियों, और पिछड़े वर्गों को उनकी वास्तविक ताकत का एहसास कराने का माध्यम बताया। राहुल ने भाजपा पर आरक्षण घटाने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस की सरकार बनने पर आरक्षण सीमा बढ़ाने का वादा किया।
झारखंड के गोड्डा जिले में आयोजित एक चुनावी सभा में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने जातीय जनगणना का मुद्दा उठाते हुए इसे भारत के सामाजिक और राजनीतिक ढांचे में बदलाव का मुख्य हथियार बताया। उन्होंने कहा, “जिस दिन जातीय जनगणना हो जाएगी, देश का चेहरा बदल जाएगा।” राहुल गांधी ने इसे दलितों, आदिवासियों, पिछड़ों और गरीबों के लिए उनकी असली ताकत को पहचानने का जरिया बताया और इसे एक नई राजनीति की शुरुआत करार दिया।
जातीय जनगणना की मांग क्यों महत्वपूर्ण है?
राहुल गांधी का मानना है कि जातीय जनगणना से समाज के कमजोर वर्गों की सही संख्या सामने आएगी, जिससे आरक्षण और अन्य नीतियों को नए सिरे से तैयार किया जा सकेगा। उन्होंने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि उनकी सरकार ने पिछड़े वर्गों का आरक्षण घटा दिया है। उन्होंने वादा किया कि अगर कांग्रेस सत्ता में आई, तो झारखंड में अनुसूचित जाति, जनजाति और पिछड़े वर्गों के आरक्षण को बढ़ाया जाएगा।
राहुल गांधी ने भारतीय प्रशासनिक सेवाओं में जातीय असमानता की ओर भी ध्यान खींचा। उन्होंने बताया कि देश के 90 शीर्ष अफसरों में केवल एक आदिवासी और तीन पिछड़े वर्ग के अधिकारी हैं। उन्होंने इसे सामाजिक असमानता और भागीदारी की कमी का उदाहरण बताया। राहुल गांधी ने अपनी चुनावी सभा में इसे केवल चुनावी संघर्ष नहीं बल्कि विचारधारा की लड़ाई बताया। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा और आरएसएस बाबा साहेब अंबेडकर और महात्मा गांधी के संविधान को खत्म करना चाहते हैं। इसके विपरीत, कांग्रेस और इंडिया गठबंधन इसे बचाने की लड़ाई लड़ रहे हैं।
झारखंड के लिए कांग्रेस का वादा
महिलाओं के लिए आर्थिक सहायता: हर महीने ₹2500 महिलाओं के खातों में जमा किए जाएंगे।
धान की न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP): इसे ₹3200 प्रति क्विंटल किया जाएगा।
स्वास्थ्य बीमा योजना: गरीब परिवारों को ₹15 लाख तक की मुफ्त स्वास्थ्य बीमा दी जाएगी।
रोजगार: झारखंड में अगले 5 वर्षों में 10 लाख नौकरियां देने का वादा किया।
राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आलोचना करते हुए कहा कि उनका ध्यान केवल बड़े उद्योगपतियों पर केंद्रित है। उन्होंने नोटबंदी और जीएसटी को छोटे व्यापारियों के खिलाफ बताया। राहुल गांधी का यह भाषण आगामी चुनावों में कांग्रेस की सामाजिक न्याय और समानता पर आधारित रणनीति को स्पष्ट करता है। जातीय जनगणना के मुद्दे ने राजनीतिक बहस को और तेज कर दिया है।
जातीय जनगणना पर राहुल गांधी का जोर सामाजिक न्याय और राजनीतिक बदलाव के लिए उनके दृष्टिकोण को दिखाता है। यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि यह मुद्दा झारखंड और राष्ट्रीय स्तर पर कांग्रेस को कितनी राजनीतिक बढ़त देता है।